एक याचिकाकर्ता ने ध्वनि प्रदूषण के नाम पर मस्जिदों में अज़ान के लिए लाउडस्पीकर के इस्तेमाल पर प्रतिबंध लगाने की मांग की थी। गुजरात हाईकोर्ट ने इसे गलत जनहित याचिका कहकर खारिज कर दिया।
मुख्य न्यायाधीश सुनीता अग्रवाल ने ध्वनि प्रदूषण और अशांति के याचिकाकर्ता के दावे पर सवाल उठाया और पूछा कि क्या अन्य धार्मिक प्रथाओं, जैसे कि पूजा के दौरान संगीत बजाना या मंदिरों में भजन बजाना, इसी तरह की सार्वजनिक अशांति का कारण नहीं है।