मणिपुर में शांति की स्थापना के लिए जंतर मंतर पर प्रदर्शन कर रहे दिल्ली विश्वविद्यालय के छात्रों ने कहा कि मोदी जी की चुप्पी हमेशा स्वर्णिम नहीं हो सकती। प्रदर्शनकारी छात्रों ने कहा कि अगर कुकी हार गए, तो भारतीय लोकतंत्र भी हार जाएगा। पिछले छह महीनों से कुछ बदला है क्या? सब बरबाद हो गया, हम रात भर सो नहीं पाते पढ़ नहीं पाते, रोने लगते हैं, कुछ छात्रों ने तो अपनी जान लेने तक की कोशिश की। एक शोधकर्ता छात्र ने कहा मेरा रीसर्च पेपर भी पूरा नहीं हो पा रहा है। हम दुःखी और तनाव में रहते है। हम घर नहीं जा सकते क्योंकि घर जाने का रास्ता इम्फाल घाटी से होकर गुजरता है, यह घाटी कुकी के लिए सदा के लिए बन्द हो गयी है क्या करें।